साल 2022 समाप्त हो गया और इसके साथ ही केंद्र सरकार और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से घोषित तमाम बड़ी योजनाओं और तमाम बड़े वादों की समय सीमा भी पूरी हो गई। लेकिन कोई भी घोषणा या कोई भी वादा पूरा नहीं हुआ। आमतौर पर राजनीतिक दलों और सरकारों की घोषणाएं पूरी नहीं होती हैं लेकिन पहले की सरकारों और मौजूदा सरकार में फर्क यह है कि पहले पार्टियां और सरकारें अमूर्त रूप से घोषणाएं करती थीं। जैसे गरीबी हटाओ! यह नहीं कहा गया था कि गरीबी कब तक हटेगी। लेकिन नरेंद्र मोदी की सरकार ने हर वादा पूरा करने के लिए एक समय सीमा दी थी। एक निश्चित तारीख बताई थी और वह तारीख गुजर गई।
प्रधानमंत्री मोदी ने सितंबर 2018 में कहा था कि अगले चार साल में यानी 2022 तक भारत पांच खरब डॉलर की अर्थव्यवस्था वाला देश बन जाएगा। हालांकि कोरोना महामारी के बाद से उन्होंने इस बारे में कुछ भी कहना बंद कर दिया और उनकी पार्टी के नेताओं ने समय सीमा आगे बढ़ानी शुरू कर दी है। लेकिन 2022 खत्म हुआ तो यह ध्यान आया कि इसी साल भारत की अर्थव्यवस्था पांच खरब डॉलर की होने वाली थी, लेकिन अभी तक देश की अर्थव्यवस्था तीन खरब डॉलर के थोड़ा ऊपर जाकर अटकी हुई है।
प्रधानमंत्री ने जून 2018 में कहा था कि 2022 तक देश के किसानों की आय दोगुनी हो जाएगी। यह बात उन्होंने पहले भी कही थी और उसके बाद भी वे और उनकी पार्टी इसे दोहराते रहे थे। हालांकि पिछले एक-दो साल से इसका भी जिक्र बंद है। अब साल खत्म हो गया। किसानों की आय दोगुनी नहीं हुई उलटे कृषि लागत दोगुनी या उससे ज्यादा हो गई। प्रधानमंत्री ने कोई चार साल पहले कहा था कि भारत में 2022 तक बुलेट ट्रेन चलने लगेगी। खाड़ी के देश ओमान में प्रवासी भारतीयों को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने यह समय सीमा घोषित की थी। हकीकत यह है कि अभी महाराष्ट्र में शिव सेना के शिंदे गुट की भाजपा समर्थित सरकार जमीन अधिग्रहण का काम कर रही है।
प्रधानमंत्री मोदी ने सरकार में आने के थोड़े दिन बाद ही महत्वाकांक्षी लक्ष्य तय किया था। उन्होंने कहा था कि 2022 में जब देश आजादी की 75वीं सालगिरह मना रहा होगा तब देश के हर आदमी के सिर पर अपनी पक्की छत होगी यानी हर परिवार को पक्का मकान आवंटित हो जाएगा। वह समय सीमा भी समाप्त हो गई और करोड़ों परिवार अब भी बिना आवास के हैं। उन्होंने सितंबर 2015 में कहा था कि 2022 तक देश के हर घर को 24 घंटे बिजली मिलने लगेगी। उसकी मियाद भी पूरी हो गई और भारत अभी हर घर को 24 घंटे बिजली देने के लक्ष्य से बहुत दूर है। प्रधानमंत्री मोदी ने वादा किया था कि आजादी के अमृत वर्ष यानी 2022 में भारत माता की कोई संतान अपने यान से अंतरिक्ष में जाएगी। अगर यह लक्ष्य पूरा होता तो ऐसा करने वाला भारत दुनिया का चौथा देश बन जाता। लेकिन 2022 का साल खत्म हो गया और अंतरिक्ष में किसी भारतीय को भेजने की योजना पूरी नहीं हुई।